
नीमच। सिंगोली थाना पुलिस ने शुक्रवार और शनिवार की दरमियानी रात बड़ी सफलता हासिल करते हुए चर्चित कचरु गुर्जर अपहरण प्रकरण में फरार चल रहे पांच आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया है। यह मामला 25 जुलाई को घटित हुआ था, जब सिंगोली क्षेत्र के ग्राम कंवरजी कीखेड़ी निवासी कचरुलाल गुर्जर पिता छितरमल गुर्जर का योजनाबद्ध तरीके से अपहरण कर लिया गया था। घटना के बाद पूरे क्षेत्र में सनसनी फैल गई थी और पुलिस महकमा भी अलर्ट मोड में आ गया था। जांच में सामने आया कि यह अपहरण राजस्थान के शोपुरिया गांव के पांच युवकों ने किया था। घटना की गंभीरता को देखते हुए थाना प्रभारी बी.एल. भाभर के नेतृत्व में विशेष पुलिस टीम गठित की गई, जिसमें सिंगोली और रतनगढ़ थाना क्षेत्र की संयुक्त कार्रवाई से पुलिस ने तत्काल दबिश देकर अपहृत कचरुलाल को सकुशल मुक्त कराया था। अपहरणकर्ताओं द्वारा पीड़ित को अल्टो कार में उनके गांव के समीप से उठाकर ले जाया गया था। पुलिस ने पीड़ित कचरुलाल को सुरक्षित परिजनों को सौंपते हुए बयान दर्ज किए थे और पांचों आरोपियों के विरुद्ध अपहरण की धाराओं में प्रकरण दर्ज कर उनकी तलाश शुरू कर दी थी। पिछले कई दिनों से इन आरोपियों की धरपकड़ के प्रयास किए जा रहे थे, जो गत रात सफलता में बदले। पुलिस ने शोपुरिया गांव से पांचों नामजद आरोपियों — मोहनलाल पिता कृष्णलाल गुर्जर, अमरचंद पिता कृष्णलाल गुर्जर, हेमराज पिता कृष्णलाल गुर्जर, मुकेश पिता मोहनलाल गुर्जर एवं कालू पिता भागु गुर्जर को गिरफ्तार किया। इनके कब्जे से वह अल्टो कार क्रमांक RJ 08 CB 0129 भी जब्त की गई है, जिसका उपयोग अपहरण के दौरान किया गया था। थाना प्रभारी बी.एल. भाभर ने बताया कि गिरफ्तार आरोपियों से पूछताछ की जा रही है और प्रारंभिक जांच में यह मामला आपसी रंजिश या आर्थिक विवाद से जुड़ा प्रतीत हो रहा है। हालांकि, पूछताछ के बाद ही मामले की पूरी परतें खुल सकेंगी। आज पांचों आरोपियों को न्यायालय में प्रस्तुत किया जाएगा, जहां पुलिस उनकी रिमांड की मांग करेगी ताकि घटना की विस्तृत जानकारी प्राप्त की जा सके और यदि इसमें अन्य व्यक्ति संलिप्त हैं तो उनकी भूमिका का भी खुलासा हो सके। सिंगोली पुलिस की इस त्वरित और योजनाबद्ध कार्रवाई से एक गंभीर अपराध का पर्दाफाश हो गया है और अपहृत को सुरक्षित वापस लाकर आमजन में पुलिस की छवि को भी बल मिला है। पुलिस अधीक्षक नीमच द्वारा भी इस कार्रवाई की सराहना की गई है और टीम को आवश्यक निर्देश दिए गए हैं कि प्रकरण की निष्पक्ष एवं गहराई से जांच कर आगे की कानूनी कार्रवाई सुनिश्चित की जाए।